अधिगम का अर्थ और परिभाषा एवं सिद्धांत : अगर आपको अधिगम का अर्थ नही पता तो आप सही जगह आए है मै आप को बिल्कुल सरल भाषा में अधिगम का अर्थ एवं परिभााषा बताऊंंगा । साथ ही आपको ये भी बताने का प्रयास करूगा कि अधिगम कितने प्रकार का होता है ? और अधिगम के सिद्धांत कौन कौन से है ? अगर आप ये सभी चीजें जानना चाहते है तो इस पोस्ट को अंत तक जरूर पढ़ें ।
अधिगम का अर्थ और परिभाषा एवं सिद्धांत
सीखना (अधिगम ) क्या है ?
शिशु के सामने दीपक जे जाने पर वह स्वाभाविक रूप से उसकी लौ को पकड़ने के लिए हाथ बढ़ाता है किंतु लौ हाथ में लगते ही उसे जलन का अनुभव होता है और वह अपना हाथ खींच लेता है
भविष्य में पुन: जब कभी उसके सामने दीपक लाया जाता है तब वह अपने अनुभव के आधार पर इस बार लौ को पकड़ने के लिए हाथ नही बढाता है । बल्कि इस बार वह उससे दूर भागने का प्रयास करता है । और
इस प्रकार पूर्व अनुभव के आधार पर उसके स्वाभाविक व्यवहाकर में परिवर्तन हो जाता है । और इस प्रकार के स्वाभाविक व्यवहार में होने वाले परिवर्तन या परिमार्जन को अधिगम या सीखना कहते है !
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अधिगम का अर्थ -
सामान्य भाषा में अधिगम का अर्थ ''सीखना या व्यवहार में परिवर्तन'' है व्यक्तियों में यह परिवर्तन एक सा नही होता कभी स्थायी तो कभी अस्थायी रहता है ।
अधिगम की परिभाषाऍं -
अधिगम की परिभाषा निम्नलिखित मनोवैज्ञानिको ने दी है जो कि निम्न है
1. वुडवर्थ के अनुसार - सीखना विकास की प्रक्रिया (प्रक्रम) है
2. गेट्स के अनुसार - परीक्षण व अनुभव द्वारा व्यवहार में परिवर्तन अधिगम है ।
3. क्रो व क्रो के अनुसार - आदत , ज्ञान व अभिवृत्तियों का अर्जन करना ही अधिगम है
4. गिलफोर्ड के अनुसार - व्यवहार के कारण व्यवहार में परिवर्तन ही अधिगम है
5. पील के अनुसार - व्यक्ति में परिवर्तन ही अधिगम है जो वातावरण में परिवर्तन के अनुसार में होता है ।
6. मार्गन व किंग के अनुसार - अभ्यास या अनुभूति के परिणाम स्वरूप व्यवहार में होने वाला अपेक्षाकृत स्थायी परिवर्तन अधिगम है ।
अधिगम के सिद्धांत (Principles of learning )
- थार्नडाइक का प्रयत्न व भुल का सिद्धांत
- पावलाव का क्लासिकल अनुबधन का सिद्धांत
- स्किनर का क्रिया प्रसूत अनुबंधन का सिद्धांत
- हल का प्रबलन सिद्धांत
- गुथरी का समीपता सिद्धांत
- कोहल , कोक्फा एवं वर्दी मेयर का सूझ बूझ या अंर्तदृष्ट का सिद्धांत
- टायल मैन का अधिगम सिद्धांत
- लेविन का क्षेत्र सिद्धांत या कर्ट लेविन का क्षेत्रीय सिद्धांत
- गैने की अधिगम सोपान की चरण
- बंदूरा का सामाजिक अधिगम सिद्धांत
- उसूबेल के सीखने का सिद्धांत
अधिगम के नियम ( Rules of learning )
1913 में अपनी पुस्तक ''शिक्षाा मनोविज्ञान'' में अधिगम की 3 मुख्य व 5 गौंण नियमों का प्रतिपादन किया
मुख्य नियम :-
1. तत्परता का नियम (low of readiness)
यदि हम किसी कार्य को करने के लिए शारीरिक व मानसिक रूप से तैयार है तो उसे करना सीख जाते है अन्यथा नही
इस निमय का प्रयोग -
- रूचि उत्पन्न करने में
- ध्यान केन्द्रित करने में
- जिज्ञासा जाग्रत करने में
2.अभ्यास का नियम /श्रम का नियम
इस नियम का अर्थ किसी भी किय्रा कार्य को बार बार करने से है '' करत-करत अभ्यास से जड़मत होय सुजान'' यह कहावत इसी नियम पर आधारित है
इस निमय को दो भाग हे
- उपयोग (use)
- अनुप्रयोग (disuse)
इस नियम का प्रयोग आदत निर्माण में , लेखन सुधार में , उच्चारण सुधार में , कला , संगीत , नृत्य, अभिनय व पेंटिग आदि के सीखने में उपयोगी है ।
3. प्रभाव का नियम (Low of effect )
इसे संतोष / परिणाम का नियम भी कहते है ।
जब किसी क्रिया या कार्य का परिणाम अच्छा आता है । तो हम उसे करना सीख जाते है । अन्यथा नही
जैसे - प्रसन्नता , प्रशंसा , पुरस्कार , दण्ड
गौण नियम -
1.बहुप्रतिक्रिया का नियम -
बहुत सी क्रियाएं करने हुए सीख जाना जैसे - गाड़ी चलाना , कम्प्यूटर चलाना , मोबाइल चलाना ।
2.आंशिक क्रिया का नियम -
विषय वस्तु को छोटे - छोटे भागो में विभाजित करने हुए अंश से पूर्ण की ओर शिक्षा
3. मनोवृत्ति का नियम -
सीखना सकारात्मकता पर निर्भर करता है ।
4.आत्मीकरण का नियम -
पूर्व ज्ञान के साथ संबंध स्थापित करते हुए नवीन ज्ञान को सीखा जाना ।
अधिगम की प्रकृति / विशेषताऍं
- अधिगम निरन्तर चलने वाली प्रक्रिया है
- अधिगम व्यवहार मे वॉछित परिवर्तन है
- अधिगम सार्वभौमिक है (कक्षा में भी और कक्षा के बाहर भी )
- अधिगम व्यक्तिगत व सामाजिक दोनो है
- अधिगम सकारात्मक व नकारात्मक दोनो है
- सीखना उद्दीपन व अनुक्रिया में सबंध स्थापित करने वाली प्रक्रिया है
- अधिगम यह समायोजन / अनुकुलन की प्रक्रिया है
- अधिगम एक सक्रिया प्रक्रिया है
- अधिगम ज्ञानात्मक , भावात्मक , क्रियात्मक , विवेकपूर्ण प्रक्रिया है
- सीखना एक समस्या समाधान की प्रक्रिया है
- सीखना आवश्यकताओ की पुर्ति करता है
- अधिगम विवेकपूर्ण /अन्त:दृष्टि की प्रक्रिया है
- अधिगम अनुभवो का संगठन है
- अधिगम उद्देश्य पूर्ण बिन्दु है
- अधिगम एक प्र्रिया है ना कि परिणाम
- अधिगम अनुभव द्वारा अर्थ निर्माण की प्रक्रिया है
- अधिगम स्थानान्तरण की प्रक्रिया है
- नियोजित है आकस्मिक नही
अधिगम को प्रभावित करने वाले कारक
1.व्यक्तिगत कारक -
(क) अभिप्रेरणा -
स्किनर के अनुसार -
- अभिप्रेरणा अधिगम का सर्वश्रेष्ठ राजमार्ग है
- अधिगम की सुनहरी सड़क - अभिप्रेरणा
- अधिगम को सर्वाधिक प्रभावित करने वाला कारक - अभिप्रेरणा
स्टीपेन्शन के अनुसार -
- शिक्षक के पास जितने भी साधन है उनमें सबसे महत्वपूर्ण अभिप्रेरणा है
- इच्छा शक्ति
- शारीरिक व मानसिक स्वास्थ्य
- संवेदना व प्रत्यक्षीकरण
- रूचि , स्मृति व ध्यान का प्रभाव
- आयु व परिपक्वता
2. शिक्षक संबंधी कारक -
- विषय वस्तु का प्रस्तुतीकरण
- विषय वस्तु में निपुणता
- शिक्षण की विधि
- शिक्षक का मानसिक स्वास्थ्य
- शिक्षक का व्यक्तित्व
- कार्य की उपयोगिता
- कार्य की रोचकता
- कार्य की लम्बाई
- कार्य की कठिनाई
- कार्य की समानता
- भौतिक वातावरण - तापमान , जलवायु
- सामाजिक वातावरण - परिवार , विद्यालय , समुुह, सिनेमा ,टीवी , मिडिया
- सांस्कृतिक वातावरण - रीति रिवाज , प्रथाऍं , उत्साव , अंधविश्वास, परम्पराएं , भाग्य वादी सोच
5.संगठन संबंधी कारक -
- टाईम - टेबल
- शिक्षक छात्र के संबंध
- निर्देशन
- प्रशंसा , पुरस्कार व दण्ड
- अनुशासन
अधिगम की विधियॉं
1. करके सीखना -
सर्वाधिक बल दिया किलपैट्रिक डॉं. मैस के अनुसार हम करके सीखते है ।
2. निरीक्षण करके सीखना -
वाटसन ने बल दिया
3. परीक्षण करके सीखना -
विलियम वुण्ट ने बल दिया
4. सामुहिक विधि द्वारा सीखना
सेमीनार , कार्यशाला ,पैनल , परिचर्चा
5. मिश्रित विधि द्वारा सीखना-
पूर्ण व आंशिक विधि की मिला - जुला रूप
हम ने सीखा -
जैसा कि आप ने इस पोस्ट में देखा अधिगम क्या है अधिगम का अर्थ , परिभाषा , विशेषताऍं , सिद्धांत , नियम एवं अधिगम को प्रभावित करने वाले कारक को हम ने अच्दी तरीके से समझने का प्रयास किया ।